पार्टी का इतिहास : History of Janvadi Party (Socialist)
पार्टी का इतिहास : History of Janvadi Party (Socialist)
जहां एक ओर भारत ही नहीं पूरा विश्व राजनैतिक संक्रमण के दौर से गुजर रहा है। वहीं वैश्विक स्तर पर समाजवाद, साम्यवाद, लेनिनवाद, माओवाद, मनुवाद एवं धर्म निरपेक्षता तथा इन दर्शनों पर आधारित गठित राजनैतिक संगठन और उनके संचालकों का संकीर्ण चिंतन, समाजिक असंतुलन को और वीभत्स रूप देता जा रहा है। ऐसे दौर में एक ऐसी विचारधारा की जरूरत थी जो समाज को जाति, धर्म, पंथ या वर्ग से उपर उठाकर मानवीय मूल्यों पर आधारित और केंद्रित संघर्ष की कल्याणकारी व्यवस्था दे सके, जिसमे व्यक्ति सर्वश्रेष्ठ व्यक्तित्व का मालिक के साथ-साथ समाज में आर्थिक रूप से समरसता लायी जा सके।
इस जरूरत को पूरा करने के लिये जनवादी विचारधारा एवं इस पर आधारित एक राजनैतिक संगठन (जन राजनैतिक पार्टी) की अनिवार्यता काफी दिनों से महसूस की जा रही थी। इसी कारणवश कार्यभार को पूरा करने के लिये एक जनवादी पार्टी (सोशलिस्ट ) का गठन ही बेहतर विकल्प और औजार साबित हो सकती थी। इसी कारण आधुनिक राजनैतिक परिदृष्य में एक सर्व हितकारी राजनैतिक विकल्प के रूप में जनवादी पार्टी ( सोशलिस्ट ) का गठन अनिवार्य हो गया था जिसे 23 अप्रैल 2004 को डॉक्टर संजय सिंह चौहान द्वारा किया गया ।